अर्की महाविद्यालय में मुंबई से पधारे फिल्म अभिनेता, निर्माता आर्यन हरनोट ने विद्यार्थियों के साथ साझा किये फिल्मी दुनिया के अनुभव

एसआर हरनोट की कहानी पर निर्मित फिल्म कील और राम भरोसे भी दिखाई।

ब्यूरो, दैनिक हिमाचल न्यूज:- राजकीय महाविद्यालय अर्की में आज हिंदी विभाग द्वारा विख्यात साहित्यकार एसआर हरनोट की कहानी “कीलें”पर आधारित लघु फिल्म “कील” विद्यार्थियों को दिखाई गई। जानकारी देते हुए एसोसिएट प्रोफेसर एवं मीडिया प्रभारी डॉ राजन तनवर ने बताया कि इस कार्यक्रम की यह विशेषता रही कि विख्यात कहानीकार एसआर हरनोट तथा इस लघु फिल्म के निदेशक आर्यन हरनोट भी इस अवसर पर उपस्थित रहे।

आर्यन हरनोट द्वारा ही निर्देशित एक अन्य लघु फिल्म राम भरोसे जो कि स्वच्छता का संदेश देती है उसे भी प्रदर्शित किया गया। इस अवसर पर आलोचक,समीक्षक, लेखक डॉ हेमराज कौशिक ने भी विद्यार्थियों में साहित्यिक रुचि बढ़ाने के लिए उन्हें संबोधित किया। हिमाचल प्रदेश भाषा संस्कृति विभाग के पूर्व सचिव डॉक्टर करम सिंह ने भी इस समारोह को गैार्वान्वित किया। डॉक्टर करम सिंह मूलतः लेखक, कहानीकार तथा समीक्षक हैं।

अकादमी में रहते हुए इन्होंने बहुत से साहित्यकारों को विधिक मंच प्रधान करवाए हैं। एसआर हरनोट ने अपने संबोधन में कहा कि साहित्य के माध्यम से साहित्यकार अपने मन मस्तिष्क में उठ रहे द्वंद्व को उजागर करके सामाजिक समस्याओं का निराकरण करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। आज विद्यार्थियों के बौद्धिक विकास के लिए साहित्य की ज्यादा जरूरत है। युवा अभिनेता , निर्माता एवं निर्देशक आर्यन हरनोट ने विद्यार्थियों के साथ अपने फिल्मी दुनिया के अनुभव साझा किये। उन्होंने कहा कि प्रतिभा अपनी मंजिल तलाश ही लेती है , बशर्ते हममें कुछ नया करने का जज्बा होना चाहिए।

महाविद्यालय प्राचार्य प्रोफेसर सुनीता शर्मा ने कहा कि विद्यार्थी अपनी प्रतिभा का सही मूल्यांकन करें तथा अपनी प्रतिभा के हिसाब से अपना कार्य क्षेत्र तलाशे वर्तमान समय में फिल्मी दुनिया रोजगार का एक बहुत बड़ा माध्यम बन चुका है जब ग्रामीण प्रवेश के रहने वाले आर्यन हरनोट मुंबई जैसी नगरी में अपने आप को स्थापित कर सकते हैं तो इस महाविद्यालय के विद्यार्थी क्यों नहीं? हिंदी विभाग के एसोसिएट प्रोफेसर डॉ राजन तनवर ने अपने संबोधन में कहा कि विद्यार्थियों को ऐसे अवसरों एवं मंचों का लाभ लेना चाहिए तथा अपनी प्रतिभा के बल पर विषम परिस्थितियों में भी अपना लोहा मनवाने के लिए आगे आना चाहिए। उन्होंने डॉ हेमराज कौशिक, डॉक्टर कर्म सिंह, एसआर हरनोट तथा आर्यन हरनोट सहित सभी का आभार व्यक्त किया उन्होंने अपने संबोधन में कहा कि महाविद्यालय प्राचार्या प्रोफेसर सुनीता शर्मा ने इस महाविद्यालय के विद्यार्थियों के उज्जवल भविष्य के प्रति समर्पित है, इसीलिए इस तरह के आयोजन करवा कर विद्यार्थियों को लाभान्वित करवाना चाहती हैं।

LIC

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